shadow analog cheese in the market पनीर भारतीय व्यंजनों का महत्वपूर्ण हिस्सा है, जिसका इस्तेमाल स्वाद और सेहत दोनों के लिए होता है। पारंपरिक पनीर दूध से बनाया जाता है, जिसमें भरपूर मात्रा में प्रोटीन, कैल्शियम और हेल्दी फैट्स होते हैं। परंतु, बाजार में सस्ते विकल्प के तौर पर उपलब्ध एनालॉग पनीर अब विवादों में आ गया है। हाल ही में जोमैटो के बी2बी प्लेटफॉर्म हाइपरप्योर पर इस नकली पनीर को बेचने के आरोप लगे हैं, जिससे लोगों की सेहत को खतरा हो सकता है। आइए जानते हैं एनालॉग पनीर के बारे में और इसके सेवन से होने वाले संभावित नुकसान।
क्या है एनालॉग पनीर?
एनालॉग पनीर असली पनीर का सस्ता विकल्प है, जिसे डेयरी प्रोडक्ट्स की बजाय वनस्पति तेल, स्टार्च और एडिटिव्स का उपयोग करके बनाया जाता है। यह कम पोषक तत्वों वाला होता है, जो दिखने और स्वाद में असली पनीर जैसा लगता है, लेकिन इसकी गुणवत्ता और सेहत पर असर अलग होता है। इसका उपयोग मुख्य रूप से सस्ते रेस्टोरेंट्स और होटल्स में होता है, जहां कम लागत में पनीर का विकल्प चाहा जाता है।
एनालॉग पनीर कैसे बनता है?
एनालॉग पनीर में वनस्पति तेल (जैसे पाम ऑयल या सोयाबीन का तेल), स्टार्च (जैसे आलू या कॉर्न स्टार्च) और कभी-कभी सोया प्रोटीन का उपयोग किया जाता है ताकि असली पनीर की तरह बनावट और स्वाद मिले। इसमें हाइड्रोजनेटेड तेलों का भी इस्तेमाल किया जाता है, जो सेहत के लिए हानिकारक हो सकते हैं।
एनालॉग पनीर खाने के नुकसान
एनालॉग पनीर भले ही सस्ता हो, लेकिन इसके सेवन से शरीर को कई तरह की स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है:
- हाई ट्रांस फैट से हृदय रोग का खतरा
एनालॉग पनीर में उपयोग किए जाने वाले हाइड्रोजनेटेड वनस्पति तेलों में ट्रांस फैट होता है, जो शरीर में खराब कोलेस्ट्रॉल (LDL) को बढ़ाकर अच्छे कोलेस्ट्रॉल (HDL) को कम करता है। इसका नियमित सेवन करने से हृदय रोग, मोटापा और सूजन की समस्या हो सकती है। - पोषण की कमी
असली पनीर में भरपूर प्रोटीन, कैल्शियम और हेल्दी फैट्स होते हैं, जो मांसपेशियों और हड्डियों के लिए फायदेमंद होते हैं। इसके विपरीत, एनालॉग पनीर में वनस्पति तेल और स्टार्च होने के कारण पोषण की कमी होती है, जिससे शरीर को आवश्यक पोषक तत्व नहीं मिल पाते। - पाचन संबंधी समस्याएं
एनालॉग पनीर में इस्तेमाल होने वाले इमल्सीफायर, स्टेबलाइजर और प्रिजर्वेटिव पेट की समस्याओं का कारण बन सकते हैं। इन तत्वों के कारण पेट में गैस, सूजन और कुछ मामलों में एलर्जी हो सकती है, खासकर उन लोगों को जिनका पाचन तंत्र कमजोर है।
एनालॉग पनीर की बढ़ती डिमांड
एनालॉग पनीर का निर्माण लागत कम होने के कारण इसकी डिमांड ज्यादा है। इसका उत्पादन ज्यादा मात्रा में और कम समय में किया जा सकता है, जिससे यह बाजार में सस्ते दामों में उपलब्ध रहता है। यही कारण है कि कई रेस्टोरेंट और होटल्स इसे बड़े पैमाने पर इस्तेमाल करते हैं।
कैसे करें असली और नकली पनीर की पहचान?
अगर आप यह सुनिश्चित करना चाहते हैं कि आपका पनीर असली है या नकली, तो इसका एक तरीका यह है कि इसे गर्म पानी में डालें। असली पनीर अपने आकार और बनावट को बरकरार रखता है, जबकि एनालॉग पनीर जल्दी पिघलकर टूट सकता है। साथ ही, असली पनीर का स्वाद और महक हल्की होती है, जबकि एनालॉग पनीर में हल्की चिपचिपाहट और गाढ़ापन महसूस हो सकता है।