दांत निकलते वक्त बच्चों को होती है तकलीफ, जानें प्रभावी देखभाल के टिप्स

दांत निकलते वक्त बच्चों को होती है तकलीफ, जानें प्रभावी देखभाल के टिप्स

जब बच्चों के दूध के दांत निकलने की प्रक्रिया शुरू होती है, तो यह उनके लिए काफी तकलीफदायक साबित हो सकता है। खासकर 2 साल की उम्र तक, बच्चों को इस दौरान दस्त, दर्द और चिड़चिड़ापन जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ता है। माता-पिता के लिए यह समय चुनौतीपूर्ण हो सकता है क्योंकि बच्चे शारीरिक और मानसिक रूप से असहज रहते हैं। दांत निकलना एक नेचुरल प्रोसेस है, लेकिन सही देखभाल से आप अपने बच्चे की तकलीफ को काफी हद तक कम कर सकते हैं। इस लेख में हम दांत निकलने के सामान्य लक्षणों और उनके प्रभावी घरेलू उपचारों के बारे में जानेंगे।

बच्चों में दांत निकलते वक्त दिखाई देने वाले सामान्य लक्षण

  1. दस्त लगना:
    दांत निकलते समय बच्चों को दस्त की समस्या होना बहुत ही सामान्य है। मसूड़ों में सूजन और दर्द होने के कारण कई बार बच्चों को कब्ज या पेट दर्द की भी शिकायत हो जाती है। मसूड़ों से दांत निकलने की प्रक्रिया के दौरान बच्चा दर्द से राहत पाने के लिए इधर-उधर की चीजें चबाने की कोशिश करता है।
  2. बुखार और पसीना आना:
    दांत निकलने पर बच्चों को हल्का बुखार आ सकता है। इसके साथ ही बच्चों को बहुत पसीना आता है और वह थका हुआ महसूस कर सकते हैं।
  3. चिड़चिड़ापन और रोना:
    दर्द और असहजता के कारण बच्चे अधिक चिड़चिड़े और रोने वाले हो जाते हैं। यह स्वाभाविक है क्योंकि दांत निकलने की प्रक्रिया के दौरान उनके मसूड़े काफी संवेदनशील हो जाते हैं।

बच्चों की दांत निकलने की तकलीफ कम करने के उपाय

  1. हल्के हाथों से मालिश करें:
    बच्चे के शरीर की हल्की मालिश करने से उसे राहत मिलती है। विशेष रूप से पैर और सिर की मालिश करें ताकि शरीर में ब्लड सर्कुलेशन अच्छा बना रहे और बच्चे को आरामदायक नींद मिल सके।
  2. अधिक पानी और ठंडे लिक्विड दें:
    दांत निकलते समय बच्चे को अधिक पानी पिलाएं। मां के दूध के अलावा उसे अन्य लिक्विड भी दिया जा सकता है। मां का दूध निकालकर उसे फ्रिज में ठंडा करके देने से भी बच्चे को काफी आराम मिलता है, जैसे कि डॉक्टर सर्जरी के बाद आइसक्रीम खाने की सलाह देते हैं। यह सूजन और दर्द को कम करने में मदद करता है।
  3. शहद का उपयोग करें:
    शहद में एंटीबैक्टीरियल और एंटीसेप्टिक गुण होते हैं, जो घाव और सूजन को कम करने में मदद करते हैं। मसूड़ों पर हल्का सा शहद लगाने से बच्चे को आराम मिल सकता है। हालांकि, शहद का उपयोग 1 साल से कम उम्र के बच्चों में न करें।
  4. फलों और केले का सेवन:
    दस्त और बुखार के दौरान बच्चे को केला खिलाना लाभदायक होता है। इसके अलावा, ताजे फलों का रस जैसे संतरे, तरबूज, अनानास और कीवी भी बच्चे की प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने में मदद करते हैं क्योंकि इनमें विटामिन-सी और एंटीऑक्सीडेंट्स भरपूर मात्रा में होते हैं।
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डॉक्टर की सलाह कब लें?

अगर आपके बच्चे को अत्यधिक बुखार, दस्त, या कोई अन्य गंभीर लक्षण दिखाई देते हैं, तो डॉक्टर की सलाह लेना बेहद ज़रूरी है। डॉक्टर विटामिन और कैल्शियम सप्लीमेंट्स भी दे सकते हैं, जो इस दौरान बच्चे की पोषण की आवश्यकताओं को पूरा करने में मदद करते हैं।

निष्कर्ष

बच्चों के दांत निकलने की प्रक्रिया एक सामान्य लेकिन तकलीफदेह समय होता है। सही देखभाल और घरेलू नुस्खों से आप अपने बच्चे की तकलीफ को काफी हद तक कम कर सकते हैं। इन आसान उपायों का पालन करके आप अपने बच्चे को इस समय आराम दे सकते हैं और उसकी सेहत को बनाए रख सकते हैं।